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Nagariya Samajshashtra (Urban Sociology) (Hindi)

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पुस्तक विवरण

  • लेखक: वी.एन. सिंह, जनमेजय सिंह

  • प्रकाशक: Rawat Publications

  • भाषा: हिंदी

  • संस्करण: 2011

  • ISBN: 9788131606926

  • पृष्ठ संख्या: 480

  • कवर: पेपरबैक

  • आकार: 8.5 x 5.4 x 0.8 इंच


पुस्तक के बारे में

नगरीय समाजशास्त्र (Urban Sociology) महानगरों की जटिल समस्याओं, उनके विकास, और उनसे जुड़े सामाजिक, आर्थिक तथा सांस्कृतिक पहलुओं का गहन वैज्ञानिक एवं शोधपरक विश्लेषण प्रस्तुत करती है। यह पुस्तक आधुनिक भारतीय समाज के शहरीकरण की प्रक्रिया, नगरवाद, और नगरीय जीवन की चुनौतियों को समाजशास्त्रीय दृष्टिकोण से समझने का अवसर देती है।

पुस्तक में निम्नलिखित महत्वपूर्ण विषयों पर विस्तार से चर्चा की गई है:

  • भारत में नगरीकरण का इतिहास और विकास यात्रा

  • नगरों की पारिस्थितिकी और उप-नगरों का विस्तार

  • मलिन बस्तियों और शहरी गरीबी की गहन पड़ताल

  • नगरीय जीवन में जाति, वर्ग और परिवार की बदलती संरचनाएँ

  • पर्यावरण, अपराध, बेरोजगारी और जनसंख्या की समस्याएँ

  • युवाओं में तनाव, अवसाद और आत्महत्या की प्रवृत्तियाँ

  • उत्तर-आधुनिकतावाद और नव-आर्थिक उपनिवेशवाद का प्रभाव

यह पुस्तक शोधकर्ताओं, समाजशास्त्र के विद्यार्थियों, शहरी योजनाकारों और नीति-निर्माताओं के लिए अत्यंत उपयोगी है।